समुचित शिक्षा और उत्तम संस्कारों के बीजारोपण से सशक्त होगी युवा पीढ़ी के जीवन की नींव:गरिमा

बेतिया -आन्नदमार्ग प्रचारक संघ के तत्वावधान में रविवार को "क्या विषयों का ज्ञान ही सम्पूर्ण शिक्षा है?" विषयक कार्यशाला का आयोजन किया गया। 

लाल बाजार के हजारीमल धर्मशाला के सभागार में संपन्न समारोह में मुख्य अतिथि रहीं नगर निगम की महापौर गरिमा देवी सिकारिया ने आन्नदमार्ग के उक्त सिंपोजियम का दीप प्रज्वलित कर के उद्घाटन किया।इस मौके पर उन्होंने कहा कि हमारे युवाओं के जीवन की नींव समुचित शिक्षा और उत्तम संस्कारों के बीजारोपण से सशक्त होती है। इस अवधारण को व्यवहारिक रूप में स्वीकार करने के साथ हम सबको यह भी स्वीकार करना होगा कि आज के विद्यार्थी ही हमारे समाज के भावी निर्माता हैं। 

आनंद मार्ग प्रचारक संघ के इस चिंतन शिविर में विषय के रूप में उठाए गए उपरोक्त सवाल का समर्थन करने के साथ महापौर श्रीमती सिकारिया ने कहा कि आज की युवा पीढ़ी को समुचित शिक्षा के साथ रचनात्मक स्वरूप में उनका मानसिक विकास भी अनिवार्य है। क्योंकि इसके बिना उनके सकारात्मक व्यक्तित्व विकास संभव नहीं है। जबकि आज की व्यवस्था में हमारी युवा पीढ़ी को मिलने वाली विषयगत शिक्षा केवल इनके विषयगत ज्ञान का विस्तार करती है।

ऐसा ज्ञान इनके आगे के व्यवहारिक जीवन की जटिलताओं से उबरने की क्षमता को विकसित नहीं कर पा रहा है.जिसके कारण कुंठा,हताशा और अवसाद अर्थात डिप्रेशन का प्रकोप हमारी युवा पीढ़ी में बढ़ रहा है। इससे पर आनंद मार्ग प्रचारक संघ की ओर से महापौर पुष्पगुच्छ,फूल माला और अंग वस्त्र देकर सम्मानित किया गया। इस चिंतन शिविर में जिला के विभिन्न महाविद्यालयों से आमंत्रित विद्यार्थी और अनेक विद्वत जन ने भी अपने अपने विचार रखे।उनके द्वारा - क्या वर्त्तमान शिक्षा जीवन के मूल लक्ष्य की प्राप्ति में सहायक है?,

जीवन में सही निर्णय लेने में क्या वर्त्तमान शिक्षा सहायक है?, व्यवहारिक जीवन और आध्यात्मिक जीवन में कोई सम्बन्ध है। जैसे विषयों पर विस्तार से विचारण किया गया।

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