पीजी के छात्रों का सभी परीक्षा जिला स्तर पर कराने की निर्णय ले सरकार: विधायक
परिक्षा देने में अधिक कठिनाई थारू-आदिवासी व नेपाल-युपी सिमा पर बसे छात्रों को होती है।
BRABU का एक ब्रांच हर जिला में स्थापित करना अतिआवश्यक।नरकटियागंज, भाकपा-माले केन्द्रीय कमेटी सदस्य सह सिकटा विधायक वीरेन्द्र प्रसाद गुप्ता ने कहा की शिक्षा ही एक ऐसी प्रणाली है जो हमेशा रोशनी देती है।जिसकी वजह से समाज के साथ देश-प्रदेश का विकास होता है।
इसलिए जरूरी है की शिक्षा को सुगम व सरल बनाया जाये ताकी आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लोगों को भी असानी से उच्च व बेहतर शिक्षा प्रदान हो सके।
आगे माले विधायक ने कहा मुजफ्फरपुर स्थित बिहार विश्वविद्यालय का क्षेत्र बहुत बड़ा तथा अधिक दुरी होने के कारण उच्च शिक्षा की चाहत रखने वाले आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के छात्र-नौजवान उच्च शिक्षा से वंचित हो जाते है।
जिसका मुख्य कारण पीजी की परिक्षा केन्द्र विश्वविद्यालय की दुरी 300-350 किलोमीटर का होना है,परिक्षा देने मे सबसे अधिक कठिनाईयों का सामना थारू-आदिवासी समाज के गरीब-दलीत व मजदुर छात्र-नौजवानों को होती हैं जिनके परिवार नेपाल-युपी के सिमा पर बसे हुए हैं।
जो एक लम्बी दुरी तय कर परिक्षा देने जाते हैं।जिसके कारण उन छात्रो के परिवारों को आर्थिक तंगी के साथ मानसिक तनाव से भी ग्रसित होना पड़ता है।
इसलिए हम मांग करते हैं की इन समाज के छात्र-नौजवानों के परेशानियों को देखकर प्रदेश सरकार पीजी का परिक्षा जिला स्तर पर ही लेने की घोषणा करे तथा हर जिला में युनिवर्सिटी का एक ब्रांच स्थापित करना सुनिश्चितकर करे, ताकी सर्टीफिकेट आदि से समबंधीत कार्य जिला स्तर पर हो जाये और छात्र-नौजवानों को मुजफ्फरपुर जाकर अपनी जरूरी कागजात पाने के लिए चक्कर न लगाना पड़े।उक्त आशय की जानकारी माले प्रखंड सचिव यासिर अरफात ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर दिया।
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